Introduction
आज हम सुभाष चंद्र बोस ( Biography of Subhash Chandra Bose ) के बारे में बात करने वाले हैं हमारे कई मित्रों को सुभाष चंद्र बोस बारे में जानकारी ( Biography of Subhash Chandra Bose )चाहिए थी।
तो चलिए सुभाष चंद्र बोस के जीवन परिचय ( Biography of Subhash Chandra Bose )के बारे में जानते हैं!
Table of contents
- Introduction
- Subhash Chandra Bose Quick bio
- Subhash Chandra Bose Biography in Hindi
- Subhas Chandra bose education
- Subhas chandra bose quotes in hindi
- Subhas Chandra bose books
- conclusion
Subhash Chandra Bose Quick bio
नाम |
सुभाष चंद्र बोस |
पिता का नाम |
जानकी बोस |
माता का नाम |
प्रभावती बोस |
डिग्री |
कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय (बी.ए. मानसिक और नैतिक विज्ञान ट्रिपोस, 1921 |
जन्म |
23 जनवरी 1897 |
मृत्यु |
18 अगस्त 1945 |
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Subhash Chandra Bose Biography in Hindi
23 जनवरी 1897 को उड़ीसा के कटक में सुभाष चंद्र बोस का जन्म हुआ था।उनके पिता का नाम जानकी बोस था, जो कि पेशे से एक वकील थे। तथा उनके माता का नाम प्रभावती बोस था।
सुभाष चंद्र बोस के परिवार में उनके अलावा 13 भाई और बहने थी।सुभाष चंद्र बोस बचपन से ही तीव्र बुद्धि के तथा साहसी थे। वह बहुत ही होशियार थे, इसीलिए वे सभी शिक्षक के पसंदीदा विद्यार्थी थे।
उन्होंने अपनी शुरुआती पढ़ाई Protestant यूरोपियन स्कूल से की। सन् 1931 में मैट्रिक में सफल होने के पश्चात उनका दाखिला प्रेसिडेंसी कॉलेज में करा दिया गया। बचपन से सुभाष चंद्र बोस विवेकानंद व रामा कृष्ण तीर्थ के विचारों से काफी प्रभावित हुआ करते थे।
इन विचारों से प्रभावित होकर सुभाष चंद्र बोस को लगा कि उनके पढ़ाई लिखाई से ज्यादा जरूरी देश की सेवा करना है और उस समय ब्रिटिश सरकार का शासन था।
जो कि भारतीयों पर बहुत ही ज्यादा जुर्म करते थे । यह जुर्म देखकर बोस के मन में स्वतंत्रता की चिंगारी जाग उठी।कुछ समय पश्चात सुभाष चंद्र बोस ने सन् 1918 में यूनिवर्सिटी ऑफ कलकत्ता में Scottish चर्च कॉलेज से बीए की डिग्री हासिल की।
बोस जी पढ़ाई त्याग कर कर देश की सेवा करना चाहते थे किंतु पिता के दबाव में आकर बोस जी को इंडिया छोड़कर विदेश को इंडिया छोड़कर विदेश जाना पड़ा। क्योंकि उनके पिता चाहते थे कि वह एक अच्छी नौकरी करें इसी कारण उन्हें विदेश भेज दिया गया और फिर बोस जी ने ने कैंब्रिज के एक कॉलेज में पढ़ाई पूर्ण करने के पश्चात उन्होंने इंडियन सिविल सर्विस की परीक्षा दिलाई।
वे इस परीक्षा में चौथे नंबर पर थे। इतने अच्छे रैंक होने के बाद भी उन्होंने यह नौकरी त्याग दी।क्योंकि उनका कहना था कि अंग्रेजी शासन की नीचे काम करना मुझे मंजूर नहीं है
भारतीय लोगों के मन में स्वतंत्रता लाने के लिए उन्होंने एक न्यूज़ पेपर निकाला जिसका नाम था, स्वराज।सन् 1923 में सुभाष चंद्र बोस को ऑल इंडिया यूथ कांग्रेस का प्रेसिडेंट बनाया गया। स्वतंत्रता के लिए लोगों को उकसाने के नाम पर बोस जी को जेल में डाल दिया गया।
जेल में उन्हें क्षय(T.B.) रोग की बीमारी हो गई।कुछ समय पश्चात सन् 1927 में कांग्रेस पार्टी के जनरल सेक्रेटरी के पोस्ट में नियुक्त किया गया।पार्टी को अच्छे से चलाने के लिए सन् 1930 में सुभाष चंद्र बोस यूरोप गए। इसी दौरान उन्होंने अपनी किताब द इंडियन स्ट्रगल पब्लिस की कुछ समय पश्चात ब्रिटिश सरकार ने इसे बैन कर दिया।
सुभाष चंद्र बोस के अच्छे कार्यकाल को देखते हुए कुछ दिनों में उन्हें कांग्रेस पार्टी का प्रेसिडेंट बना दिया गया।किंतु गांधी जी सुभाष चंद्र बोस के हिंसा से भरी नीतियों को पसंद नहीं करते थे, इसी कारण बोस ने कांग्रेस कांग्रेस ने कांग्रेस पार्टी से इस्तीफा दे दिया।
अब सुभाष चंद्र बोस पूरे इंडिया में घूम – घूम कर स्वतंत्रता की मांग करने लगे इसी तरह देश की सेवा करते करते 18 अगस्त सन 1945 को विमान दुर्घटना में उन्होंने 48 साल की कम उम्र में अपनी जान गवा दी।
Subhas Chandra bose Education
- बैपटिस्ट मिशन के प्रोटेस्टेंट यूरोपीय स्कूल, कटक, 1902–09
- रेनशॉ कॉलेजिएट स्कूल, कटक, 1909-12
- प्रेसीडेंसी कॉलेज, कलकत्ता, 1912-15 फरवरी 1916
- स्कॉटिश चर्च कॉलेज, कलकत्ता, 20 जुलाई 1917-1919
- फिट्ज़विलियम हॉल, नॉन-कॉलेजिएट स्टूडेंट बोर्ड, कैम्ब्रिज, 1919-21
- कलकत्ता विश्वविद्यालय (बी.ए., दर्शनशास्त्र, 1919)
- कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय (बी.ए. मानसिक और नैतिक विज्ञान ट्रिपोस, 1921
Subhas chandra bose quotes in hindi
बिना जोश के के आज तक कभी भी महान कार्य नहीं हुए..
याद रखो ! हमारा सबसे बड़ा अपराध अन्याय को सहना और गलत के साथ समझौता करना है..
तुम मुझे खून दो मैं तुम्हें आजादी दूंगा..
इतिहास में कभी भी सिर्फ विचार विमर्श विमर्श से कोई बड़ा परिवर्तन नहीं हुआ...
मां का प्यार सबसे ज्यादा गहरा होता है क्योंकि इसमें कोई स्वार्थ नहीं होता...
Subhas Chandra bose book
- what happened to Neta Ji
- Brothers against the raj
- Azad Hind
- The Indian struggle
- An Indian pilgrim
Conclusion ( निष्कर्ष )
आप सभी को सुभाष चंद्र बोस के जीवन से बहुत कुछ सीखने मिला होगा सबसे महत्वपुर्ण बात जीवन में कभी हार नहीं मानना चाहिए हमेशा कोशिश करनी चाहिए क्योकि कोशिश करने वाली की हार नहीं होती।
आपके पास Biography of Subhash Chandra Bose में और जानकारी हैं, या दी गयी जानकारी मैं कुछ गलत लगे तो तुरंत हमें कमेंट। अगर आपको Life History Of Subhash Chandra Bose अच्छी लगे तो जरुर हमें WhatsApp Status और Facebook पर Share कीजिये।
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Thank you for this compliment